पब्लिक सेक्टर के बैंकों के विलय और जमा राशि पर ब्याज दर घटने के विरोध में कुछ कर्मचारी यूनियनों ने मंगलवार को बैंकों में देशव्यापी हड़ताल रखने का एलान किया है। इस वजह से आज बैकों में कामकाज प्रभावित हो सकता है। SBI सहित ज्यादातर बैंकों ने अपने ग्राहकों को पहले ही इस बारे में बता दिया है। हड़ताल का आह्वान आल इंडिया बैंक एम्पलाइज एसोसिएशन (AIBEA) और बैंक एम्पलाइज फेडरेशन ऑफ इंडिया (BEFI) की ओर से किया गया है। हालांकि, अधिकारी और निजी क्षेत्र के बैंक इस हड़ताल से दूर रहेंगे।
बता दें कि SBI सहित ज्यादातर बैंकों ने अपने ग्राहकों को इस बाबत पहले ही सूचित कर दिया है। यूनियन का कहना है कि वे 22 अक्टूबर की सुबह 6 बजे से 23 अक्टूबर की सुबह 6 बजे तक हड़ताल पर जाएंगे। भारतीय स्टेट बैंक (SBI) ने पहले ही कहा है कि उस पर इस हड़ताल का असर बहुत कम होगा क्योंकि उसके ज्यादातर कर्मचारी हड़ताल करने वाले यूनियनों के सदस्य नहीं हैं। एसबीआई ने नोटिस में बताया है, ‘हड़ताल में भाग लेने वाले यूनियनों में हमारे बैंक कर्मचारियों की सदस्यता काफी कम है, इसलिए परिचालन पर हड़ताल का असर काफी कम होगा।’
वहीं सिंडीकेट बैंक ने स्टॉक एक्सचेंजों को दी गई जानकारी में कहा है कि हम कोशिश कर रहे हैं कि हड़ताल वाले दिन बैंक अपनी शाखाओं को सुचारू रूप से चला सके। हालांकि, हड़ताल के कारण बैंक की शाखाओं/कार्यालयों के कामकाज पर इसका असर पड़ेगा। समूचे बैंक उद्योग की 9 यूनियनों में से केवल दो यूनियनों ने ही इस हड़ताल का आह्वान किया है।